pregnancy ke shuruaati lakshan kya hote hain
नमस्कार दोस्तो, स्वागत है आप सभी का मेरी आज की इस पोस्ट में जिसका नाम है pregnancy ke shuruaati lakshan kya hote hain. आज इस पोस्ट के माध्यम से मैं आप लोगों को प्रेगनेंसी के शुरुआत लक्षण क्या होते हैं के बारे में बताऊँगा। बस, आप लोग मेरी इस पोस्ट पर अंत तक बने रहिए।
क्या आप ये सोच रही हैं कि क्या आप गर्भवती हो सकती हैं ? सही रूप से ये बात पहचान करने का एकमात्र तरीका गर्भावस्था परीक्षण (प्रेगनेंसी टेस्ट) करना है। जोकि आप प्रेगनेंसी किट के माध्यम से घर बैठे आसानी से कर सकती हैं।
लेकिन गर्भावस्था के कुछ शुरुआती लक्षण भी हैं जोकि इस बात की ओर इशारा करते हैं, जैसेकि :
आप गर्भावस्था के शुरुआती लक्षण कैसे पता करेंगी ?
इसको पता करने का बहुत ही आसान तरीका है, आप अपने किसी नजदीकी मेडिकल स्टोर से एक प्रेगनेंसी किट मंगा लीजिए, अब उस किट को आप सुबह उठकर जैसे ही पेशाब करने के लिए जाएँ तो अपनी पेशाब की एक दो बूँद को उस किट पर डालना है या फिर आप उस पेशाब को किसी शीशी वगैरह में कर लीजिए उसके बाद किसी ड्रॉपर की मदद से एक दो बूँद उस पर डालिए, यदि डालने के बाद किट पर केवल एक लाइन बानी हुई आए तो समझिये कि आप गर्भवती नहीं हैं और यदि दो लाइन्स बनी हुई आएं तो समझ लीजिए कि आप गर्भवती यानी की प्रेगनेंट हैं। प्रेगनेंसी को चेक करने का ये सबसे आसान तरीका है।
वैसे हर किसी के लक्षण एक जैसे नहीं होते या फिर एक गर्भावस्था से दूसरी गर्भावस्था में भी लक्षण एक जैसे नहीं होते।
इसके अलावा, गर्भावस्था के शुरुआती लक्षण ज्यादातर मासिक धर्म से ठीक पहले और उसके दौरान होने वाले लक्षणों से ठीक मिलते-जुलते होते हैं, इसलिए आपके लिए इस बात का पता ही नहीं चल पाता कि आप गर्भवती हैं।
pregnancy ke shuruaati lakshan kya hai
मासिक धर्म का न आना
ये वो लक्षण है जो अधिकांश लोगों को गर्भावस्था परीक्षण (प्रेगनेंसी टेस्ट) करवाने के लिए प्रेरित करता है लेकिन आप लोग इस बात को भी जान लें कि मासिक धर्म का न आना अथवा देरी होना गर्भावस्था की वजह से नहीं होता है।
इसके अलावा, प्रेगनेंसी के दौरान आपको हल्का रक्तस्राव हो सकता है। यदि ये सब होता है, तो आप अपने डॉक्टर से इसके बारे में पूछें कि आपको किन - किन बातों का विशेष ध्यान रखना चाहिए। जैसेकि , आपको कब रक्तस्राव सामान्य है और कब यह किसी आपात स्थिति का संकेत है?
मैंने आपको पहले ही बताया है कि गर्भावस्था के अलावा भी मासिक धर्म मिस होने की और भी कई वजह हो सकती हैं। हो सकता है कि आपका वजन काफी ज़्यादा बढ़ गया हो या काफी ज्यादा कम हो गया हो। हार्मोनल समस्याएँ, थकान या फिर अत्यधिक तनाव भी अन्य कारण हो सकते हैं। हो सकता है कि जब आप गर्भनिरोधक गोलियाँ लेना बंद कर देती हैं तो आपका पीरियड मिस हो जाए लेकिन अगर पीरियड आपको काफी देर से आता है और गर्भधारण की संभावना भी लग रही है, तो आपको एक बार अपना प्रेगनेंसी टेस्ट जरूर करवा लें। इससे क्या होगा कि आपके मन का बहम खत्म हो जाएगा।
ब्लड स्पॉटिंग
शुक्राणु द्वारा अंडे को निषेचित करने के बाद, निषेचित हुआ अंडा गर्भाशय की दीवार से चिपकने लगता है। यह गर्भावस्था के शुरुआती लक्षणों में से एक की वजह बन सकता है - स्पॉटिंग एवं कभी-कभी ऐंठन का होना।
इसे हम आरोपण रक्तस्राव भी कहते हैं। यह जो है अंडे के निषेचित होने के 6 से 12 दिनों के बाद होता है।
इसमें ऐंठन मासिक धर्म के ऐंठन की तरह होती है, इसलिए कुछ लोग इसे और रक्तस्राव को मासिक धर्म की शुरुआत समझ लेते हैं लेकिन रक्तस्राव और ऐंठन हल्की मामूली होती है।
रक्तस्राव के अलावा, आपको अपनी योनि से सफ़ेद, दूधिया रंग का स्राव भी देखने को मिल सकता है। ये जो है योनि की दीवारों के मोटे होने से संबंधित है, जोकि शुक्राणु द्वारा अंडे को निषेचित करने के ठीक बाद से शुरू होता है। योनि की परत में कोशिकाओं की बढ़ोत्तरी की वजह से ये स्राव होता है
यह स्राव, जोकि पूरी गर्भावस्था के दौरान जारी रह सकता है, आमतौर पर यह हानिरहित होता है और इसके लिए उपचार की जरूरत नहीं होती है लेकिन हाँ यदि इसमें बदबू या जलन या फिर खुजली भी हो, तो आप अपने डॉक्टर से इसके बारे में एक बार जरूर बताएं ताकि वे यह चेक कर सकें कि आप लोगों को कहीं कोई यीस्ट संक्रमण, जीवाणु संक्रमण या फिर कहीं यौन संचारित रोग तो नहीं हो गया है।
स्तनों में बदलाव
स्तनों में होने वाला बदलाव भी गर्भावस्था का एक और शुरूआती संकेत हैं। अंडे के निषेचित हो जाने के बाद आपके हार्मोन का स्तर काफी तेजी से बदलता है। इन बदलावों की वजह से, आपके स्तनों में एक या दो हफ्ते बाद सूजन हो सकती है, उनमें दर्द महसूस हो सकता है या फिर हल्की हल्की झुनझुनी भी महसूस हो सकती है या फिर वे भारी या फिर भरे हुए लग सकते हैं या वे छूने पर कोमल (सॉफ्ट) महसूस हो सकते हैं। निप्पल के आस-पास की जगह, जिसे हम एरोला भी कहते हैं वो काली भी पड़ सकती है।
स्तनों में परिवर्तन के पीछे कई अन्य वजह भी हो सकती हैं लेकिन यदि ये बदलाव गर्भावस्था के शुरुआती लक्षण हैं तो ध्यान रहे कि ये नए हॉरमोन को स्तनों के साथ तालमेल बिठाने में कई हफ्ते लगेंगे लेकिन जब आप ऐसा कर लेंगी, तो इससे आपके स्तनों का दर्द कम हो जाएगा।
थकान
गर्भावस्था के समय काफी थकान महसूस होना सामान्य बात है, जोकि शुरूआत से ही होती है। अंडे के निषेचित होने के एक हफ्ते बाद ही आपको असामान्य रूप से थकान महसूस होनी शुरू हो जाती है।
यह ज्यादातर प्रोजेस्टेरोन नामक हार्मोन के काफी उच्च स्तर से जुड़ा हुआ होता है। हालांकि अन्य चीजें - जैसेकि ब्लड शुगर के निम्न स्तर, निम्न रक्तचाप एवं रक्त उत्पादन में बढ़ोत्तरी - ये सभी इसमें अपना योगदान कर सकते हैं।
यदि आपकी थकान गर्भावस्था से जुड़ी हुई है तो इसके लिए आपको पूरी तरह से आराम करना काफी आवश्यक है। प्रोटीन और आयरन से भरपूर खाद्य पदार्थों को खाने से इस परेशानी से निपटने में आपको काफी सहायता मिलेगी।
मतली या उलटी आना (मॉर्निंग सिकनेस)
मॉर्निंग सिकनेस गर्भावस्था का एक बहुत ही प्रमुख लक्षण है लेकिन ये हर किसी महिला को नहीं होता है।
मॉर्निंग सिकनेस की सही वजह अभी तक किसी को पता नहीं है लेकिन गर्भावस्था के हॉरमोन इसके चीज के लिए जिम्मेदार साबित हो सकते हैं। गर्भावस्था के दौरान आपको मतली (उलटी) दिन के किसी भी टाइम हो सकती है, लेकिन ज्यादातर यह सुबह के समय होती है।
इसके अलावा, कुछ महिलाओं को प्रेगनेंसी के दौरान कुछ खास खाद्य पदार्थों को खाने की इच्छा जागृत होती है या फिर वे उनको बर्दाश्त नहीं कर पाती। यह भी हार्मोनल परिवर्तनों से जुड़ा हुआ है। इसका प्रभाव इतना तेज हो सकता है कि अपने किसी भी पसंदीदा भोजन के बारे में सोचना भी आपको परेशान में डाल सकता है।
यह बात बिलकुल संभव है कि मतली , इच्छा और भोजन से घृणा पूरी गर्भावस्था के दौरान बनी रहे। सौभाग्य से, गर्भावस्था के 13वें अथवा 14वें सप्ताह के आसपास कई लोगों में ये लक्षण स्वत: ही कम होते चले जाते हैं। इस बीच अपने लिए स्वस्थ आहार लेना भी शामिल करें ताकि आपको और आपके आने वाले बच्चे को जरूरी पोषक तत्व मिल सकें। आप इस बारे मे अपने किसी डॉक्टर से परामर्श ले सकते हैं।
गर्भावस्था के शुरआती लक्षण ये और भी हो सकते हैं
गर्भावस्था आपके हार्मोनल संतुलन में भी परिवर्तन लाती है और इससे अन्य लक्षण भी हो सकते हैं जिनमें की कुछ लक्षण ये भी शामिल हैं:
काफी अधिक पेशाब आना
काफी लोगों में यह गर्भधारण के बाद छठे या आठवें सप्तह: में शुरू होता है। हालाँकि यह चीज मूत्र मार्ग में संक्रमण , मधुमेह या मूत्रवर्धक दवाओं को ज्यादा यूज़ करने के कारण से भी हो सकता है लेकिन यदि आप गर्भवती हैं, तो यह सबसे अधिक संभावना हार्मोन के स्तर की वजह से है।
शौच करने में दिक्कत होना
गर्भावस्था के समय में हार्मोन प्रोजेस्टेरोन का उच्च स्तर आपको कब्ज़ (गैस) का शिकार बना सकता है। प्रोजेस्टेरोन की वजह से भोजन आपकी आंतों से धीमे - धीमे गुजरता है। इस परेशानी को कम करने के लिए आप खूब पानी पिएँ, व्यायाम करें और साथ ही भरपूर मात्रा में फाइबर युक्त खाद्य पदार्थों को भी अपनी डाइट में शामिल करें।
मूड में बदलाव
ये चीज़ काफी आम हैं, खासकर पहली तिमाही (शुरू के 3 महीने) के दौरान । ये समस्या भी हार्मोन में बदलाव से जुड़ी हुई है।
चक्कर आना एवं बेहोशी होना
ये समस्या रक्त वाहिकाओं के फैलने, निम्न रक्तचाप और निम्न ब्लड शुगर से जुड़ी हो सकती है।
सिरदर्द और कमर दर्द
काफी महिलाओं को गर्भावस्था के दौरान ज्यादातर हल्का सिरदर्द और कमर दर्द भी मह्सूस होता है ।
नाक बंद होना
हार्मोन के स्तर और रक्त उत्पादन में बढ़ोत्तरी की वजह से आपको बहती या फिर भरी हुई नाक हो सकती है। इससे आपकी नाक की झिल्ली सूखने, सूजन या रक्तस्राव के रूप में कोई भी प्रतिक्रिया कर सकती है।
पेट फूलना
पीरियड की शुरुआत की तरह ही, हार्मोनल परिवर्तनों की वजह से आपको पेट फूलने की समस्या महसूस हो सकती है।
आपको इनमें से ये सभी लक्षण देखने को मिल सकते हैं, या इनमें से शायद केवल एक या दो ही लक्षण हों। कुछ भी हो सकता है। यदि इनमें से कोई भी लक्षण आपको दिक्कत पैदा करने लगे, तो आप अपने डॉक्टर से इस बारे में परामर्श करें ताकि आप उन्हें दूर करने के लिए कोई उपाय ढूंढ सकें।
जब बच्चे को जन्म देने की बात आती है, तो प्रत्येक कोई अलग होता है लेकिन गर्भावस्था के कुछ शुरुआती लक्षण हैं जिन पर आपको ध्यान देना चाहिए। गर्भावस्था के शुरुआती लक्षणों में आपका मासिक धर्म का न आना, स्पॉटिंग या ऐंठन, काफी थकान महसूस होना, मतली या उलटी होना और भी इनके अलावा काफी सारे लक्षण हो सकते हैं। गर्भावस्था की वजह से ही हार्मोन में परिवर्तन होता है जिससे कि कई परिवर्तन होते हैं। यदि आप लोगों को लगता है कि आप गर्भवती हो सकती हैं, तो अपना प्रेगनेंसी टेस्ट जरूर करवाएं, फिर डॉक्टर से भी एक बार इस बारे में परामर्श करें।
अंतिम शब्द
दोस्तो मुझे उम्मीद है कि आप लोगों को यह आर्टिकल जरूर पसंद आया होगा और आप लोगों के मन में pregnancy ke shuruaati lakshan kya hote hain या pregnancy ke shuruati lakshan kya hote hain या फिर pregnancy ke shuruaati lakshan kya hai से सम्बंधित जितने सवाल होंगे, उनके जवाब आप लोगों को मिल गए होंगे। अगर इसके वाबजूद भी आप लोगों के दिमाग में कोई सवाल या सुझाव है तो आप मुझे नीचे कमेंट बॉक्स में कमेंट जरूर करें। ऐसे ही और चीजें सीखने अथवा जानने के लिए आप लोग मेरी वेबसाइट HindiMeBaat पर बने रहें। धन्यवाद
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